खरगोन: बृज की तर्ज पर मनती है होली, गोपी बनकर नृत्य करती हैं महिलाएं; 40 दिनों तक चलता है रंगों का उत्सव

Holi In Khargone: बृज की होली दुनियाभर में मशहूर है. खरगोन में भी इसकी तर्ज पर अद्भुत होली मनाई जाती है. खरगोन के गोवर्धननाथ हवेली में बृज की तर्ज पर फूलों, गुलाल और गीले रंगों से होली खेली जाती है. ये उत्सव 40 दिनों तक चलता है. होली के मौके पर मंदिर की धूम और […]

Khargone, Holi, Festival, Madhya Pradesh
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उमेश रेवलिया

06 Mar 2023 (अपडेटेड: 06 Mar 2023, 10:58 AM)

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Holi In Khargone: बृज की होली दुनियाभर में मशहूर है. खरगोन में भी इसकी तर्ज पर अद्भुत होली मनाई जाती है. खरगोन के गोवर्धननाथ हवेली में बृज की तर्ज पर फूलों, गुलाल और गीले रंगों से होली खेली जाती है. ये उत्सव 40 दिनों तक चलता है. होली के मौके पर मंदिर की धूम और रौनक देखने लायक होती है. गोवर्धननाथ हवेली के होली उत्सव में हर कोई आनंद से भर जाता है. यहां होली दर्शन के बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचते हैं.

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खरगोन के गोवर्धननाथ हवेली मंदिर में बृज की तर्ज पर 40 दिन तक होली खेली जाती है. इस दौरान श्रदालुओं में आस्था और श्रद्धा नजर आती है. होली का ये उत्सव बंसत पंचमी से लेकर होलिका दहन के बाद धुलेंडी तक चलता है.श्रद्धालु ठाकुर जी के साथ पूरे उल्लास के साथ होली खेलते हैं. इस बार 8 मार्च को होली उत्सव का समापन होगा इस दौरान श्रदालु भगवान के साथ होली खेलेंगे.

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बृज की तर्ज पर गोपी बनती हैं महिलाएं
बृज की तर्ज पर मंदिर में होली के दौरान महिलाएं गोपी बनती हैं और होली के रसिया गीतों पर जमकर नृत्य करती हैं. इस दौरान आस्था, भक्ति और आनंद का अनूठा संगम इस मंदिर में दिखाई देता है. खास बात ये है कि ठाकुर जी से होली के लिए प्राकृतिक रंग तैयार किये जाते हैं.मंदिर में होली के दौरान मुखिया जी के द्वारा उड़ाये जाने वाले कलर को हर कोई अपने ऊपर डलवाने के लिये आतुर नजर आता है.

40 दिनों तक चलता है उत्सव
श्रद्धालु प्रीति गोपाल महाजन का कहना है यह उत्सव बसंत पंचमी से शुरू होता है और धुलंडी के दूसरे दिन तक चलता है. मथुरा में जिस तरह से बृज की होली मनाई जाती है, उसी तरह इस हवेली में 40 दिन तक होली मनाई जाती है. शुरुआत के 35 दिन अबीर गुलाल के साथ सूखे रंग से और अंतिम 5 दिनों में गीले रंगो से होली खेली जाती है. बृज के तर्ज पर मंदिर में होली के दौरान होली के रसिया गीतों पर महिलाएं गोपियां बनकर जमकर नृत्य करती हैं. यहां जबरदस्त उत्साह और उमंग के साथ होली का उत्सव मनाया जाता है.

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