…तो क्या कांग्रेस ने निशा बांगरे के लिए छोड़ी है एक सीट, जानें क्या है पूरा मामला?

MP Election 2023: मध्य प्रदेश चुनावों के लिए कांग्रेस ने आखिरकार उम्मीदवारों की दूसरी लिस्ट जारी कर दी, दूसरी सूची में कई बड़े बदलाव देखने को मिले. इसमें पहली सूची में जिन तीन प्रत्याशियों को टिकट घोषित किया गया था. उनका टिकट काट दिया गया. पहली लिस्ट में 144 नाम और दूसरी लिस्ट में 88 […]

Congress second list one seat Nisha Bangre mp election 2023
Congress second list one seat Nisha Bangre mp election 2023

एमपी तक

20 Oct 2023 (अपडेटेड: 20 Oct 2023, 08:10 AM)

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MP Election 2023: मध्य प्रदेश चुनावों के लिए कांग्रेस ने आखिरकार उम्मीदवारों की दूसरी लिस्ट जारी कर दी, दूसरी सूची में कई बड़े बदलाव देखने को मिले. इसमें पहली सूची में जिन तीन प्रत्याशियों को टिकट घोषित किया गया था. उनका टिकट काट दिया गया. पहली लिस्ट में 144 नाम और दूसरी लिस्ट में 88 उम्मीदवारों के नामों का ऐलान किया गया. इसमें तीन टिकट बदल दिए गए इसके बाद कांग्रेस ने अब कुल 229 सीटों पर प्रत्याशियों के नाम घोषित कर दिए हैं. अब आपको कांग्रेस ने एक सीट पर प्रत्याशी क्यों नहीं घोषित किया है? खबर में आगे जानिए पूरी वजह…

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दरअसल, यह सीट बैतूल जिले की आमला है, जहां से डिप्टी कलेक्टर निशा बांगरे चुनाव लड़ने की दावेदारी कर रही हैं. एक सीट पर उम्मीदवार नहीं घोषित करने के बाद यह तय माना जा रहा है कि कांग्रेस उन्हें यहां से चुनाव लड़ाना चाहती है, लेकिन निशा बांगरे उससे पहले पहले सरकार से लड़ रही हैं. निशा बांगरे ने सरकार के खिलाफ बगावती तेवर दिखाते हुए पद से इस्तीफा दे दिया था, लेकिन सरकार ने उनका इस्तीफा मंजूर नहीं किया है और उनका चुनाव लड़ने पर खलल पड़ता दिखाई दे रहा है.

यहां देखें कांग्रेस की पूरी लिस्ट…

सुप्रीम कोर्ट से भी नहीं मिली राहत

असल में, सरकार ने विभागीय जांच का हवाला देते उनके इस्तीफे को मंजूरी नहीं दी. लेकिन निशा भी पीछे हटने को तैयार नहीं हुईं और उन्होंने पद यात्रा निकाल दी. दो दिन पहले सुप्रीम कोर्ट ने जबलपुर हाईकोर्ट को आदेश दिए हैं कि वह निशा के इस्तीफे के मामले में जल्द फैसला करें. अब हाईकोर्ट के फैसले का इंतजार है. निशा के पक्ष में फैसला आता है तो वे कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ेंगी. निशा बांगरे मामले पर जल्द सुनवाई के लिए याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई. जिसमें उनकी तरफ से सुप्रीम कोर्ट में कांग्रेस नेता और वकील विवेक तन्खा और उनके बेटे वरुण तन्खा ने पैरवी की. सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने निशा बांगरे की विशेष अनुमति की याचिका को खारिज कर दिया.

सुप्रीम कोर्ट ने निशा बांगरे को हाईकोर्ट जाने के निर्देश दिए हैं. इसके साथ ही कोर्ट ने कहा, “हाई कोर्ट के आदेश का इंतजार करें, बीच में ही सुप्रीम कोर्ट आने की जरूरत नहीं है.”

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कांग्रेस ने काटे अपने 6 विधायकों के टिकट

कांग्रेस ने दूसरी लिस्ट में मौजूदा 6 विधायकों को बेटिकट कर दिया है. इनमें तीन तो चंबल-ग्वालियर के हैं, जबकि दो मालवा-निमाड़ और एक भोपाल के हैं. सुमावली से विधायक अजब सिंह कुशवाह को प्रॉपर्टी के एक मामले में सजा हो चुकी है. उनकी जगह कुलदीप सिकरवार को टिकट दिया है. मुरैना से राकेश मावई का टिकट कटने की वजह पिछले महीने ग्वालियर में गुर्जर आंदोलन के दौरान हुआ उपद्रव है. इस मामले में मावई के खिलाफ FIR दर्ज है. उपचुनाव में जीते मावई की सर्वे रिपोर्ट भी उनके खिलाफ गई. गोहद से मेवाराम जाटव और सेंधवा के विधायक ग्यारसी लाल रावत सर्वे में पिछड़ गए.

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भोपाल में बुजुर्ग विधायक आरिफ अकील के बदले उनके बेटे को टिकट

उज्जैन जिले के बड़नगर से विधायक मुरली मोरवाल को बेटे की वजह से टिकट गंवाना पड़ा. बेटे पर गंभीर आरोप लगे हैं. कांग्रेस ऐसे में भाजपा को सवाल पूछने का मौका नहीं देना चाहती है. ब्यावरा में रामचंद्र दांगी की जगह पुरुषोत्तम दांगी को प्रत्याशी बनाया गया है. सर्वे में पुरुषोत्तम रामचंद्र पर भारी पड़े. रामचंद्र दांगी पिता के निधन के बाद 2020 में उपचुनाव जीतकर विधायक बने थे.

भोपाल उत्तर का टिकट आरिफ अकील के परिवार के खाते में ही गया है. उनकी जगह पुत्र आतिफ को टिकट दिया है. आरिफ अकील भी यही चाहते थे, इसलिए माना जाए कि उनका टिकट नहीं कटा है. दरअसल, आरिफ अकील की तबियत ठीक नहीं रहती है और वह पार्टी से चुनाव नहीं लड़ने की इच्छा भी जाहिर कर चुके थे.

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