ट्रंप का 'नोबेल' दांव: पाक सेना प्रमुख से मुलाकात, क्या है भारत-पाक तनाव में अमेरिका की भूमिका?

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल ही में एक अप्रत्याशित कदम उठाते हुए पाकिस्तान के फील्ड मार्शल जनरल आसिम मुनीर से व्हाइट हाउस में मुलाकात की.

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न्यूज तक

• 09:02 AM • 19 Jun 2025

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अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने हाल ही में एक अप्रत्याशित कदम उठाते हुए पाकिस्तान के फील्ड मार्शल जनरल आसिम मुनीर से व्हाइट हाउस में मुलाकात की. इस बैठक ने भारत और पाकिस्तान के बीच चल रहे तनाव के बीच कई सवाल खड़े कर दिए हैं.

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रॉयटर्स की एक रिपोर्ट के अनुसार, व्हाइट हाउस ने इस मुलाकात का कारण चौंकाने वाला बताया है, जनरल मुनीर ने कथित तौर पर ट्रंप को भारत और पाकिस्तान के बीच संभावित परमाणु युद्ध को रोकने के लिए नोबेल शांति पुरस्कार देने की सिफारिश की है.

ट्रंप को नोबेल पीस प्राइज देने की सिफारिश

वाइट हाउस के प्रवक्ता ने बताया, "यह हमारे लिए सम्मान की बात है कि फील्ड मार्शल आसिम मुनीर व्हाइट हाउस आए. राष्ट्रपति ने उन्हें धन्यवाद दिया कि उन्होंने हाल ही में भारत-पाक सीमा पर तनाव को युद्ध में नहीं बदलने दिया." मीटिंग से पहले व्हाइट हाउस की प्रवक्ता अन्ना केली ने कहा था कि राष्ट्रपति ट्रंप ने जनरल मुनीर को इसलिए मिलने बुलाया क्योंकि उन्होंने ट्रंप को भारत और पाकिस्तान में परमाणु युद्ध रोकने के लिए नोबेल शांति पुरस्कार देने की सिफारिश की.

ट्रंप के दावे और भारत का स्पष्ट इनकार 

दरअसल, ट्रंप ने बुधवार को पीएम मोदी से बातचीत के बाद फिर से दावा किया है कि उन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच संभावित युद्ध को रोका. बुधवार को 35 मिनट तक दोनों नेताओं के बीच 'ऑपरेशन सिंदूर' पर विस्तार से चर्चा की गई. इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रपति ट्रंप को साफ कर दिया कि इस पूरी घटना के दौरान भारत-अमेरिका व्यापार समझौते या भारत-पाकिस्तान के बीच किसी भी तरह की मध्यस्थता पर कोई चर्चा नहीं हुई.

इसके बीद शाम के ट्रंप ने दावा करते हुए कहा, "मैंने पाकिस्तान और भारत के बीच युद्ध रोका. ये दोनों परमाणु संपन्न देश हैं और लड़ाई के मुहाने पर खड़े थे." उन्होंने कहा, "मैंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कल रात बात की. वो एक शानदार इंसान हैं. हम भारत के साथ व्यापार समझौते पर काम कर रहे हैं, लेकिन मैंने एक बड़ा युद्ध रोका. मुझे लगता है कि किसी ने इस बारे में खबर नहीं लिखी."

हालांकि, भारत ने इन सभी दावों को सिरे से खारिज कर दिया है. प्रधानमंत्री मोदी ने स्पष्ट किया है कि 7 से 10 मई के बीच हुई झड़पों के बाद युद्धविराम भारत और पाकिस्तान की सेनाओं के बीच सीधी बातचीत से हुआ था, न कि किसी तीसरे पक्ष की मध्यस्थता से. विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने भी इस बात पर जोर दिया कि भारत द्विपक्षीय मुद्दों में किसी तीसरे पक्ष की भूमिका को स्वीकार नहीं करता है.

कूटनीतिक मुलाकातें और भविष्य की दिशा

 

बताया जा रहा है कि ट्रंप और पीएम मोदी की कनाडा में G7 शिखर सम्मेलन के दौरान मुलाकात होनी थी, लेकिन मध्य पूर्व संकट के कारण ट्रंप के जल्दी चले जाने से यह रद्द हो गई. ट्रंप ने कथित तौर पर पीएम मोदी को अमेरिका आने का निमंत्रण दिया, जिसे पीएम मोदी ने अपने व्यस्त शेड्यूल के कारण अस्वीकार कर दिया और इसके बजाय ट्रंप को इस साल के अंत में भारत में क्वाड नेताओं के शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए आमंत्रित किया.
 

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