Rajasthan Politics: गहलोत-पायलट की बंद कमरे में डेढ़ घंटे मुलाकात, राजस्थान की सियासत में हलचल तेज! क्या हैं इसके मायने

Rajasthan Politics: राजस्थान की राजनीति में एक बार फिर हलचल मच गई है. कांग्रेस के दो दिग्गज नेता अशोक गहलोत और सचिन पायलट की चार साल बाद हुई मुलाकात ने सियासी गलियारों में चर्चा छेड़ दी है.

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न्यूज तक

• 02:01 PM • 08 Jun 2025

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Rajasthan Politics: राजस्थान की राजनीति में एक बार फिर हलचल मच गई है. कांग्रेस के दो दिग्गज नेता अशोक गहलोत और सचिन पायलट की चार साल बाद हुई मुलाकात ने सियासी गलियारों में चर्चा छेड़ दी है. दोनों नेताओं के बीच बंद कमरे में हुई यह बातचीत क्या नए समीकरण बनाएगी? आइए जानते हैं.

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चार साल बाद मिले गहलोत और पायलट

कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव सचिन पायलट ने पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से उनके आवास पर मुलाकात की. यह मुलाकात करीब एक घंटे तक चली. सचिन पायलट, गहलोत को अपने पिता और पूर्व केंद्रीय मंत्री राजेश पायलट की 25वीं पुण्यतिथि के 11 जून को होने वाला कार्यक्रम में शामिल होने का न्योता देने पहुंचे थे. लंबे समय बाद दोनों नेताओं की इस मुलाकात ने कई सियासी अटकलों को हवा दे दी है.

सोशल मीडिया पर शेयर किया मुलाकात का जिक्र

अशोक गहलोत ने इस मुलाकात का वीडियो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर शेयर किया. उन्होंने लिखा, "सचिन पायलट मुझे अपने पिता राजेश पायलट की पुण्यतिथि के कार्यक्रम में आमंत्रित करने आए." गहलोत ने राजेश पायलट के साथ अपने पुराने रिश्तों को भी याद किया. उन्होंने बताया कि वह और राजेश पायलट 1980 में एक साथ लोकसभा पहुंचे थे और 18 साल तक सांसद रहे.

सचिन पायलट ने भी X पर एक तस्वीर शेयर करते हुए लिखा, "पूर्व सीएम अशोक गहलोत से मुलाकात की. उन्हें 11 जून को दौसा में पिताजी राजेश पायलट की 25वीं पुण्यतिथि की श्रद्धांजलि सभा में आमंत्रित किया."

पायलट-गहलोत के बीच तीसरी मुलाकात

सचिन पायलट और अशोक गहलोत के इस साल यह तीसरी मुलाकात है. इससे पहले अप्रैल में अहमदाबाद और जयपुर एयरपोर्ट पर दोनों की मुलाकात हुई थी. और अब फिर से दोनों नेताओं की मुलाकात ने प्रदेश की सियासत में नई बहस छेड़ दी है. 

पुरानी खटास के बाद नई शुरुआत?

2020 में राजस्थान कांग्रेस में सियासी संकट के दौरान गहलोत और पायलट के बीच तनाव खुलकर सामने आया था. उस समय पायलट ने बगावत कर दी थी, जिसके बाद दोनों नेताओं के रिश्ते ठंडे पड़ गए थे. जुलाई 2021 के बाद यह उनकी पहली मुलाकात है. ऐसे में इस मुलाकात को सियासी तौर पर बेहद अहम माना जा रहा है.

राजेश पायलट को दी जाएगी श्रद्धांजलि

आपको बता दें,  11 जून को दौसा में आयोजित होने वाले कार्यक्रम में राजेश पायलट को श्रद्धांजलि दी जाएगी. इस मौके पर कांग्रेस के कई बड़े नेता मौजूद रह सकते हैं. यह कार्यक्रम न सिर्फ राजेश पायलट को याद करने का अवसर होगा, बल्कि सियासी तौर पर भी महत्वपूर्ण हो सकता है.

राजस्थान कांग्रेस में क्या होगा अगला कदम?

गहलोत और पायलट की इस मुलाकात ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं में उत्साह भरा है. सवाल यह है कि क्या यह मुलाकात पार्टी के लिए नई दिशा तय करेगी? राजस्थान की सियासत में आने वाले दिन क्या नया मोड़ लाएंगे, यह देखना दिलचस्प होगा.

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