राजस्थान पुलिस में तैनात कांस्टेबल की पत्नी बनी सांसद, CM भजनलाल के गृह जिले में BJP को यूं दी पटखनी

Bharatpur News: दूसरी और प्रदेश की सबसे कम उम्र की सांसद और पुलिस कांस्टेबल की पत्नी संजना जाटव (Sanjana Jatav) की चर्चा जोरों से हो रही है. इन्होंने कांग्रेस से चुनाव लड़ प्रदेश के मुख्यमंत्री और मंत्री के लिए खतरे की घण्टी भी बजा दी है.

 sanjana jatav

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राजस्थान तक

• 02:00 PM • 07 Jun 2024

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Bharatpur News: राजस्थान की सभी लोकसभा सीटों पर चुनाव के नतीजे सामने आने के बाद सियासी सरगर्मी जोरों-शोरों पर है. इस बार बीजेपी 25 की 25 सीट लोकसभा जीतने की हैट्रिक लगाने से चूक गई और महज 14 सीटों पर सिमट गई. वहीं कांग्रेस और इंडिया गठबंधन ने 10 साल बाद अपना खाता खोलकर 11 सीटों पर कब्जा जमा लिया. एक तरफ बहुमत से दूर रह चुकी भारतीय जनता पार्टी की सुगबुगाहट प्रदेश तक सुनाई दे रही है. वहीं दूसरी और प्रदेश की सबसे कम उम्र की सांसद और पुलिस कांस्टेबल की पत्नी संजना जाटव (Sanjana Jatav) की चर्चा जोरों से हो रही है. इन्होंने कांग्रेस से चुनाव लड़ प्रदेश के मुख्यमंत्री और मंत्री के लिए खतरे की घण्टी भी बजा दी है.

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दरअसल, प्रदेश की पूर्वी लोकसभा सीटों पर सुबे के मुख्यमंत्री और मंत्री किरोड़ीलाल मीणा को भारतीय जनता पार्टी ने बड़ी जिम्मेदारी दी थी. लेकिन प्रदेश के पूर्वी राजस्थान में अलवर लोकसभा सीट को छोड़कर बीजेपी का सुपड़ा साफ हो गया. सीएम भजनलाल शर्मा भी अपनी भरतपुर लोकसभा सीट को नहीं बचा पाए. हम बात कर रहे हैं भरतपुर लोकसभा की. 

51 हजार वोटों से बीजेपी प्रत्याशी को हराया 

आपको बता दें प्रदेश के पूर्वी लोकसभा सीट भरतपुर से कांग्रेस की प्रत्याशी संजाना जाटव ने चुनाव जीत कर बीजेपी को करारी पटखनी दी है. 26 वर्षीय संजना जाटव ने बीजेपी के रामस्वराम कोली को 51983 वोटों से करारी शिकस्त दी. संजना जाटव प्रदेश की सबसे छोटी उम्र की सांसद है और साथ ही इनके पति कप्तान सिंह राजस्थान पुलिस में कांस्टेबल है. सूबे के सीएम के गृह जिले से कांग्रेस के जीतने के कई कारण सामने आये है. 

कैसे दी पटखनी

भरतपुर लोकसभा सीट पर भारतीय जनता पार्टी के शिकस्त के कई कारण है. प्रदेश की यह लोतसभा सीट जाट बाहुल्य है. भरतपुर-धौलपुर जाट समाज को प्रदेश के अन्य जिलों के जाट समाज की तरह केन्द्र में ओबीसी आरक्षण का फायदा नहीं मिलता है. भरतपुर-धौलपुर जाट समाज ने केन्द्र से ओबीसी आरक्षण की मांग की थी, लेकिन केन्द्र ने उनकी मांग नहीं मानी. इस वजह से इन्होंने केन्द्र सरकार के खिलाफ गंगाजल अभियान शुरु कर दिया और भरतपुर लोकसभा सीट के जाट बीजेपी के खिलाफ हो गये.

दूसरा बड़ा कारण यह रहा कि भरतपुर लोकसभा सीट अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित थी. और इस बार बहुजन समाज पार्टी में जाने वाले वोट लामबंद होकर कांग्रेस में पक्ष में आये. तीसरी वजह यह थी कि मुस्लिम समुदाय के वोट करीब ढ़ाई लाख वोट थे. जो कांग्रेस के कोर वोटर माने जाते हैं. वहीं, पुलिस की मेवात क्षेत्र में आये दिन कार्रवाई की वजह से मुस्लिम वोटर भारतीय जनता पार्टी से नाराज थे.

जाट-जाटव-मुस्लिम वोटर्स को साधने में कामयाब रही कांग्रेस

बीजेपी की हार की वजह यह है कि जाट , जाटव , मुस्लिम वोटर्स ने एक होकर बीजेपी के खिलाफ वोट किया और कांग्रेस प्रत्याशी संजना जाटव चुनाव जीत गई. वहीं, पिछली साल हुए प्रदेश के विधानसभा में संजना जाटव को करीब 409 वोट से हार का सामना करना पड़ा था. मगर इस बार सूबें के सीएम के गढ को ढहा कर भरतपुर लोकसभा सीट से सांसद बन गई.ट

रिपोर्ट: (मुकेश कुमार, इंटर्न, राजस्थान तक)

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