UKSSSC पेपर लीक पर देहरादून में हंगामा...सैकड़ों युवा सड़क पर उतरे, परीक्षा रद्द और CBI जांच की मांग

देहरादून में रविवार को हुई स्नातक स्तरीय परीक्षा के पेपर लीक को लेकर युवाओं का गुस्सा भड़क गया. ऐसे में आज सोमवार को सैकड़ों युवाओं परेड ग्राउंड में जमा होकर परीक्षा रद्द करने और पूरे मामले की CBI जांच की मांग की.

UKSSSC Paper Leak
UKSSSC Paper Leak

सागर शर्मा

22 Sep 2025 (अपडेटेड: 22 Sep 2025, 06:05 PM)

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उत्तराखंड में एक बार फिर पेपर लीक को लेकर को लेकर बवाल मच गया है. दरअसल, रविवार को UKSSSC के स्नातक स्तरीय परीक्षा का आयोजित किया था. लेकिन आरोप है कि ये पेपर लीक हो गया था. इसी के खिलाफ आज राजधानी देहरादून में सैकड़ों युवा सड़क पर उतरे. इस दौरान छात्रों ने एकजुट होकर परीक्षा को रद्द करने और पूरे मामले की सीबीआई से जांच कराने की मांग की. उनका कहना है कि परीक्षा के दौरान ही पेपर बाहर आ गया था. ऐसे में गुस्साए युवाओं ने प्रशासन के रोक के बावजूद विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान भारी संख्या में युवा हाथों में तख्तियां लेकर परेड ग्राउंड में जमा हुए. उन्होंने मांग रविवार को हुई परीक्षा को रद्द करने की मांग की. युवाओं का कहना था कि इस पूरे मामले की सीबीआई जांच कराई जाए. 

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मामले की CBI जांच की मांग

प्रदर्शन के दौरान उत्तराखंड स्वाभिमान मोर्चा के अध्यक्ष बाबी पंवार ने इस मामले की सीबीआई जांच की मांग की है. उन्होंने सवाल उठाया कि इतनी कड़ी सुरक्षा के बाद भी पेपर कैसे लीक हो सकता है. बॉबी पंवार ने पुलिस पर भी मामले में गुमराह करने का आरोप लगाया. उनका कहना है कि अगर सीबीआई जांच नहीं कराई गई तो उत्तराखंड का हर युवा सड़कों पर उतरने को मजबूर होगा. वहीं, बेरोजगार संघ के अध्यक्ष राम कंडवाल ने बताया कि उनके पास मामले से जुड़े पुख्ता सबूत है जिसपर जांच की जानी चाहिए. उन्होंने कहा की यह युवाओं की उम्मीदों को बड़ा झटका है. प्रदर्शन के कारण देहरादून के कई इलाकों में यातायात भी बाधित हुआ.

हाकम सिंह अरेस्ट और फिर पेपर लीक

बता दें कि इस स्नातक स्तरीय परी से ठीक एक दिन पहले उत्तराखंड पुलिस ने एक संयुक्त अभियान में पेपर लीक के मास्टरमाइंड हाकम सिंह रावत और उसके एक साथी को गिरफ्तार किया था.उत्तराखंड एसटीएफ के एसएसपी नवनीत भुल्लर और देहरादून एसएसपी अजय सिंह ने बताया कि आरोपियों ने अभ्यर्थियों से 12 से 15 लाख रुपये की मांग की थी, यह वादा करते हुए कि वे परीक्षा पास कराने में मदद करेंगे. आधिकारिक जानकारी के अनुसार, आरोपियों ने शातिराना तरीके से अभ्यर्थियों को अपने जाल में फंसाया था और उनसे पैसे की डिमांड की थी वहीं अगले दिन परीक्षा पत्र का वायरल हो जाना चर्चा का विषय बन गया है.

पूर्व सीएम ने भी उठाए सवाल

इस मामले पर हरिद्वार से सांसद और उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र रावत ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने पुलिस की त्वरित कार्रवाई की तारीफ की, लेकिन साथ ही यह सवाल भी उठाया कि आखिर इतनी सुरक्षा के बाद भी पेपर बाहर कैसे आया. इसकी जांच की जाए. उन्होंने कहा कि प्रदेश में सख्त नकल विरोधी कानून लागू है. इसके बाद भी अगर कोई पेपर लीक करता है तो उस पर कानून के मुताबिक कार्रवाई होनी चाहिए.

क्या था मामला?

दरअसल प्रदेश में रविवार को UKSSSC की स्नातक स्तरीय परीक्षा आयोजित की गई थी. लेकिन परीक्षा के शुरू होने के बाद ही बेरोजगार संघ ने इसके लीक होने का दावा किया था. बेरोजगार संघ का कहना था कि परीक्षा शुरू होने के महज 35 मिनट बाद ही पूरा पेपर उनके पास आ गया था. उन्होंने कहा कि परीक्षा के खत्म होने के बाद इस प्रश्नपत्र को जब मूल पेपर से मिलाया गया तो कई प्रश्न एक जैसे मिले. इस दावे के बाद युवाओं के बीच आक्रोश पैदा हो गया था. वहीं, इन संघ के इन दावों के बाद UKSSSC के चेयरमैन का बयान भी सामने आया था. उन्होंने मामले की जांच करने के बाद कार्रवाई करने की बात कही. यहां देखें उन्होंने क्या कहा

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