बिहार में बीते कुछ दिनों से लालू परिवार में घमासान मचा हुआ था. रोहिणी आचार्या के सोशल मीडिया पोस्ट ने सियासी गलियारों को और गरमा दिया था. इस विवाद की शुरुआत भी उस वक्त हुई जब संजय यादव का गाड़ी के फ्रंट सीट पर बैठे होने का एक पोस्ट रोहिणी आचार्या ने शेयर किया. इसके बाद भी रोहिणी ने सोशल मीडिया पर कई पोस्ट किए जिसे की संजय यादव पर हमला बताया जा रहा था. अब संजय यादव ने पहली बार इस विवाद में खुलकर अपनी बात रखी है. उन्होंने कहा कि, रोहिणी दीदी ने जिस संदर्भ में यह कहा, हम सब समझते है. आइए विस्तार से जानते है पूरा मामला.
ADVERTISEMENT
संजय यादव बोले- राष्ट्रीय जनता दल एकजुट है
न्यूज एजेंसी एएनआई(ANI) से बातचीत में संजय यादव ने कहा है कि, हमारी पार्टी राष्ट्रीय जनता दल एकजुट है और पार्टी में कोई भी गलतफहमी नहीं है. रोहिणी आचार्या को लेकर कहा कि रोहिणी दीदी ने जो त्याग-बलिदान दिया जो भाजपा, गोदी मीडिया के लोग नहीं समझ सकते है. दिसंबर 2022 में उन्होंने महान बलिदान दिया है लेकिन लोगों ने उस पर भी आक्षेप लगाया.
संजय यादव ने आगे कहा कि यह दल शुरू से ही ऐसे नकारात्मक लोगों को अपनी जनशक्ति से जवाब देता आया है और चुनाव के समय में यह लोग जो भ्रम फैला फैला रहे है उसका कोई फायदा नहीं होगा. राष्ट्रीय जनता दल एकजुट है, पार्टी एकजुट है और परिवार एकजुट है.
भ्रम फैला रही है भाजपा
संजय यादव ने कहा कि वह राष्ट्रीय जनता दल का एक अदना सा समर्पित कार्यकर्ता है, जिसे राष्ट्रीय अध्यक्ष जी ने एक जिम्मेवारी सौंपी हुई है. आगे उन्होंने कहा कि भाजपा के लोग हमारे नेता राष्ट्रीय अध्यक्ष लालू प्रसाद जी, तेजस्वी यादव जी से डरे हुए है और भ्रम फैला रहे है. लेकिन बिहार लोकतंत्र की जननी है और हम यहां ऐसा होने नहीं देंगे. वोटर अधिकार यात्रा और तेजस्वी जी की बिहार अधिकार यात्रा में लोगों का उत्साह और उमंग देखकर भाजपा वाले परेशान हो गए है और इस तरीके का काम कर रहे है.
ये भी पढ़ें: तेज प्रताप ने नई पार्टी का पोस्टर किया शेयर, 'जनशक्ति जनता दल' रखा नाम, ब्लैकबोर्ड होगा चुनाव चिह्न
खटारा सरकार को उखाड़ फेंकने का है लक्ष्य
संजय यादव ने साफ किया है कि परिवार में कोई भी गलतफहमी नहीं है. सभी लोग प्रेम और सौहार्द से एक ही लक्ष्य पर काम कर रहे है कि कैसे भी भारतीय जनता पार्टी को हराना है. 20 साल से चली आ रही इस खटारा सरकार को उखाड़ फेंकना है. आगे उन्होंने हमला बोलते हुए कहा कि भाजपा जनहित के बजाय व्यक्तिगत मुद्दों पर काम करते है. बिहार में भाजपा का मुख्यमंत्री नहीं इसलिए ये लोग चुनाव से पहले साम-दाम-दंड-भेद का तिकड़म लगा रहे है. भाजपा वाले डरे हुए और चिंतित है.
रोहिणी ने क्या किया था पोस्ट?
इस विवाद की शुरुआत तेजस्वी यादव के बिहार अधिकार यात्रा के दौरान हुई. तेजस्वी की गाड़ी की फ्रंट सीट पर संजय यादव के बैठे होने की एक तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हुई. पटना के एक इंफ्लुएंसर ने इस तस्वीर के साथ पोस्ट लिखा जिसमें उसने कहा कि, फ्रंट सीट सिर्फ शीर्ष नेतृत्व के लिए है. अगर कोई खुद को लालू जी और तेजस्वी यादव से भी ऊपर समझता है, तो यह अलग बात है. इसी पोस्ट को रोहिणी ने शेयर किया था जिसके बाद यह विवाद शुरू हुआ.
आपको बता दें कि इस विवाद के बाद तेज प्रताप ने संजय यादव का बिना नाम लिए कहा कि कुछ ऐसे लोग है जो तेजस्वी का कुर्सी हथियाने के चक्कर में है. तेज प्रताप ने कहा कि रोहिणी दीदी जिस तरह की बातें कर रही है, बिल्कुल सही है. तेज प्रताप ने पहले भी संजय यादव का बिना नाम लिए उन्हें जयचंद कहा था.
यह खबर भी पढ़ें: मिठाई बेचने वाली पुतुल देवी से पीएम मोदी ने जलेबी को लेकर ऐसा क्या पूछा दिया कि सभी हंस पड़ें!
ADVERTISEMENT