Iran के President के ऐलान के बाद भड़क उठा अमेरिका, नाम लिए बगैर Pakistan को धमकी!

आयुष मिश्रा

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America on Iran: ईरान के राष्ट्रपति पाकिस्तान पहुंचे और उनके पहुंचते ही अमेरिका से लेकर इजरायल गुस्से में आ गए. अब इसी गुस्से में अमेरिका ने पाकिस्तान पर इशारों इशारों में बड़ा बयान दे दिया है . दरअसल, अमेरिका ने साफ शब्दों में कहा कि दुनिया का कोई भी देश जो ईरान के साथ व्यापार को बढ़ावा देंगे उनको अमेरिका के प्रतिबंधों का सामना करना पड़ेगा. अमेरिका ने आगे ये भी कहा कि इजरायल पर ईरान के हमले को लेकर हमने पहले ही कड़ा रुख अपनाया है और ईरान पर कई तरह के प्रतिबंध लगाए हैं. अब अमेरिका के विदेश विभाग के प्रवक्ता का बयान तब सामने आया जब पाकिस्तान ने ईरानी राष्ट्रपति का जोरदार स्वागत किया है.

 

 अमेरिका का ये बयान सुन पाकिस्तान परेशान जरुर होगा क्योंकि ईरानी राष्ट्रपति ने पाकिस्तान पर पैसों की बरसात कर दी है और करीब 10 बिलियन डॉलर के निवेश का ऐलान कर दिया है. ईरानी राष्ट्रपति ने ये ऐलान तब किया जब पाकिस्तान की ओर से ईरान से व्यापार को लेकर मदद मांगी गई . खुद पाकिस्तान प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने ईरानी राष्ट्रपति से व्यापार पर काफी लंबी चर्चा की और इस चर्चा के बाद ही ईरान की ओर से पाकिस्तान के साथ व्यापार को लेकर हामी भरी गई. ईरान के राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी के इस पाकिस्तानी दौरे पर अमेरिका की कड़ी नजरें भी हैं. उसकी वजह ये है कि अमेरिका और ईरान के बीच संबंध अच्छे नहीं हैं. दूसरी ओर,अमेरिका नहीं चाहता कि कोई भी मुल्क ईरान से अपनी नजदीकियां बढ़ाए.

अमेरिका ने पहले ही लगाया पाकिस्तान पर प्रतिबंध

बता दें अमेरिका पाकिस्तान के लिए सबसे बड़ा निर्यात का बजार है यानी कि पाकिस्तान में अमेरिका जमकर निवेश करता है. हालांकि मौजूदा वक्त की बात करें या फिर इजरायल पर ईरान के हमले के बाद की बात करें तो पाकिस्तान ने ईरान के साथ अपने संबधों को और आगे बढ़ाया है. इससे पहले अमेरिका ने पाकिस्तान के Ballistic Missile Program पर प्रतिबंध लगाया था वो भी बिना पाकिस्तान को बताएं. जिसके बाद पाकिस्तान ने अमेरिका से कहा कि प्रतिबंध लगाने से पहले बता तो देते .

अमेरिका के खिलाफ जाकर पाकिस्तान ईरान के बीच गैस पाइलाइन का व्यापर

अमेरिका ईरान में दुश्मनी के चलते पाकिस्तान को भारी नुकसान हो रहा है. ईरान चाहता है कि पाकिस्तान उसके साथ गैस पाइपलाइन परियोजना की शुरुआत करे लेकिन अमेरिका की ओर से दक्षिण और मध्य एशियाई मामलों के सहायक सचिव डोनाल्ड लू ने पहले ही कह दिया गया था कि ईमानदारी से कहूं तो,मुझे नहीं पता कि ऐसी परियोजना के लिए फंड कहां से आएगा। मुझे नहीं लगता कि कई अंतरराष्ट्रीय दानदाता इस तरह के प्रयास को फंड करने में रुचि लेंगे। हमने पाकिस्तान सरकार से अमेरिकी प्रतिबंधों में छूट की कोई इच्छा नहीं सुनी है जो निश्चित रूप से ऐसी किसी परियोजना के परिणामस्वरूप होगी.

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कश्मीर पर ईरानी राष्ट्रपति ने साधी चुप्पी

पाकिस्तान दौरे पर पहुंचने के बाद ईरानी राष्ट्रपति को पाकिस्तान प्रधनामंत्री शहबाज शरीफ मजबूर करना चाहते थे कश्मीर के मुद्दे पर लेकिन भारत ईरान के बीच अच्छे संबंधों की वजह से ईरानी राष्ट्रपति ने शहबाज शरीफ के कश्मीर पर बयान के बावजूद चुप्पी साधी रखी और पाकिस्तान को निराशा हाथ लगी.

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