यहां डांडियों से नहीं, बल्कि तलवार से खेला जाता है रास, इस अनूठे गरबा के पीछे है खास वजह

Satish Sharma

Garba with sword in udaipur: शारदीय नवरात्र की घट स्थापना के साथ एक तरफ जहां समस्त शक्तिपीठों पर भक्तों की भीड़ देखी जा रही है. साथ ही गरबा पांडाल में भी धूम हैं. देशभर में अलग-अलग पांडालो में अलग ही रंगत नजर आती है. वहीं, राजस्थान (rajasthan news) के उदयपुर (udaipur news) में गरबा डांडियों […]

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Garba with sword in udaipur: शारदीय नवरात्र की घट स्थापना के साथ एक तरफ जहां समस्त शक्तिपीठों पर भक्तों की भीड़ देखी जा रही है. साथ ही गरबा पांडाल में भी धूम हैं. देशभर में अलग-अलग पांडालो में अलग ही रंगत नजर आती है. वहीं, राजस्थान (rajasthan news) के उदयपुर (udaipur news) में गरबा डांडियों से नहीं, बल्कि तलवार से खेला जाता है. इस गरबा पांडाल में 10 वर्ष की बालिकाओं से लेकर 60 वर्ष तक की महिलाएं हिस्सा लेती है.

माता के गानों पर थिरकती इन महिलाओं के हाथ में तलवार देखने वाला हर शख्स हैरान हैं. जितने हैरान ये दर्शक होते हैं, उतना ही जोश गरबा खेलने वाली महिलाओं और बच्चियों में नजर आता है.

इस तलवार रास कार्यक्रम में मुख्य अतिथि बीजेपी शहर जिलाध्यक्ष रविन्द्र श्रीमाली, महिला मोर्चा अध्यक्ष कविता जोशी, छोगालाल भोई के साथ पंडाल में मौजूद लोगों ने शस्त्र पूजन किया. उसके बाद सभी ने हाथों में तलवारें लेकर गरबा किया.

क्यों होता है तलवार के साथ गरबा?

तलवार से गरबा कर रही महिलाओं और बच्चियों ने बताया कि तलवार से गरबा करने के लिए काफी लंबे समय तक इसकी प्रैक्टिस की है. उन्होंने बताया कि मां दुर्गा और लक्ष्मीबाई भी तलवार से गरबा करती थी. महिलाओं ने कहा कि तलवार से गरबा करने के दौरान हौसला मां दुर्गा देती है, ऐसा लगता है जैसे माता दुर्गा हमारे साथ गरबा कर रही हो. पिछले 2 साल से वह प्रैक्टिस कर रही है.

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