बिहार में लॉन्च हुआ CSR पोर्टल, गांव और शहरों के विकास को मिलेगी नई रफ्तार
बिहार में डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी ने CSR पोर्टल लॉन्च किया. अब शिक्षा, स्वास्थ्य, महिला सशक्तिकरण और ग्रामीण विकास की परियोजनाओं की रियल-टाइम मॉनिटरिंग होगी.
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राज्य में कॉरपोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी (CSR) निवेश को पारदर्शी, जवाबदेह और परिणाममुखी बनाने की दिशा में मंगलवार को मुख्य सचिवालय के सभा कक्ष में बिहार के उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी ने नव-विकसित CSR पोर्टल का उद्घाटन किया. उन्होंने कहा कि यह पोर्टल सरकार, कॉरपोरेट जगत, गैर-सरकारी संगठनों और समाज को एक मंच पर लाएगा, जहां सभी CSR परियोजनाओं की जानकारी एक ही स्थान पर उपलब्ध होगी. सीएसआर के तहत होने वाले कार्यों से राज्य के गांव और शहरों की तस्वीर बदल जाएगी और विकास के कई कार्य किए जा सकेंगे.
उपमुख्यमंत्री ने इस अवसर पर कहा कि सीएसआर केवल कानूनी दायित्व नहीं, बल्कि समाज के सर्वांगीण विकास का माध्यम है. भले ही 2014 से कंपनियों के लिए अधिनियम के तहत यह अनिवार्य हुआ, लेकिन भारतीय परंपरा में व्यापारी धर्मशालाएं, अस्पताल, स्कूल आदि बनवाकर समाज-सेवा करते रहे हैं. उन्होंने इसे एक "गवर्नेंस इनोवेशन" बताया जो राज्य के विकास की दिशा तय करेगा.
उन्होंने बताया कि पोर्टल से सभी परियोजनाओं की लोकेशन, निवेशक और राशि की जानकारी सार्वजनिक होगी. साथ ही प्राथमिकता शिक्षा, स्वास्थ्य, महिला सशक्तिकरण, पर्यावरण और ग्रामीण विकास को दी नई ऊर्जा मिलेगी. रियल-टाइम मॉनिटरिंग से प्रगति ट्रैक होगी और समस्याओं का समाधान तेजी से होगा. कंपनियों को रिपोर्टिंग आसान होगी और आंकड़े नीति-निर्माण में सहायक बनेंगे.
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सम्राट चौधरी ने कहा, “जब नीति, पूंजी और संवेदना एक साथ आते हैं, तब बदलाव की गति कई गुना बढ़ जाती है.” यह पोर्टल साझेदारी, पारदर्शिता और जवाबदेही का प्रतीक है जो न्यायपूर्ण, समृद्ध और स्वावलंबी समाज के निर्माण में अहम भूमिका निभाएगा.