स्वामी चैतन्यानंद का असली चेहरा आया सामने, लड़कियों की फोटो पर करता था कमेंट, देखें स्क्रीनशॉट्स

स्वामी चैतन्यानंद पर सोशल मीडिया से लड़कियों को फंसाने, ब्लैकमेलिंग और यौन शोषण जैसे गंभीर आरोप लगे हैं. पुलिस जांच में चैट्स, धमकी और संस्था की महिला कर्मचारियों की मिलीभगत के पक्के सबूत मिले हैं.

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एक प्राइवेट संस्थान की 17 छात्राओं के द्वारा यौन शोषण का आरोप लगाए जाने के बाद स्वामी चैतन्यानंद सरस्वती के बारे में कई चौंकाने वाले खुलासे हो रहे है. दरअसल इस मामले में फिलहाल पुलिस की जांच चल रही है. इस दौरान पता चला है कि बाबा सोशल मीडिया पर काफी एक्टिव था और अलग अलग लड़कियों की प्रोफाइल खंगालता था. जैसे ही कोई अनजान लड़की अपनी फोटो पोस्ट करती, बाबा तुरंत उस पर कमेंट करता और बातचीत शुरू करने की कोशिश करता.  

हैरान करने वाली बात ये है कि ये सिलसिला केवल एक-दो नहीं बल्कि, बाबा बाकायदा अलग-अलग अकाउंट्स को स्क्रॉल करके, लड़कियों से दोस्ती करने की कोशिश करता था.

मोबाइल चैट्स ने खोले राज

इतना ही नहीं पुलिस को बाबा के मोबाइल से ऐसे कई चैट्स मिले हैं जो इस पूरे मामले में सबसे मजबूत सबूत बनकर सामने आए हैं. इन चैट्स में बाबा छात्राओं को लगातार मैसेज भेज रहा था और उससे नजदीकियां बढ़ाने की कोशिश करता नजर आ रहा है. कई बार उसने अश्लील बातें कीं, निजी तस्वीरें मांगीं और झूठे वादों के जरिए उन्हें अपने जाल में फंसाने की कोशिश की.

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17 अक्टूबर तक न्यायिक हिरासत में

दिल्ली की एक कोर्ट ने फिलहाल स्वामी चैतन्यानंद को 17 अक्टूबर तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया है. सुनवाई के दौरान बाबा के वकील ने कई सवाल उठाए, खासकर यह जानना चाहा कि किस धारा के तहत हिरासत में लिया जा रहा है. जांच अधिकारी ने बताया कि शिकायतकर्ता की दूसरी एफआईआर के बाद धारा 232 जोड़ी गई है.

बाबा की मांगें भी कम दिलचस्प नहीं

इतना ही नहीं कोर्ट में बाबा के वकील ने यह भी मांग रखी कि उन्हें नियमित दवाइयां, सात्विक भोजन (जिसमें प्याज-लहसुन न हो), धार्मिक वस्त्र और आध्यात्मिक सामान रखने की इजाजत दी जाए. 

इसके अलावा, केस डायरी पर हस्ताक्षर करवाने की मांग की गई, यह कहते हुए कि उनके खिलाफ कोई साजिश हो रही है. कोर्ट ने इसे सामान्य प्रक्रिया मानते हुए अलग से कोई आदेश नहीं दिया.

छात्रों को धमकाने और दबाव बनाने के आरोप

संस्थान से जुड़े कई छात्रों ने पुलिस को बताया कि उनसे मोबाइल फोन और शैक्षणिक दस्तावेज जबरन लिए गए और विरोध करने पर उन्हें निष्कासित करने की धमकी दी गई. साथ ही, पुलिस ने बताया कि पूछताछ के दौरान बाबा ने ना तो कोई पछतावा जताया, ना ही सहयोगी रवैया अपनाया.

तीन महिला कर्मचारी भी गिरफ्तार

बाबा के साथ-साथ इस मामले में संस्था में काम करने वाली तीन महिला स्टाफ की भी  गिरफ्तार हुई है. इन पर आरोप है कि ये छात्राओं पर दबाव बनाकर बाबा की मदद करती थीं और सब कुछ छिपाने की कोशिश करती थीं.

जॉब का लालच और यौन शोषण

जांच में ये भी सामने आया है कि बाबा ने आर्थिक रूप से कमजोर लड़कियों को नौकरी का झांसा देकर फंसाया और फिर शारीरिक संबंध बनाने का दबाव डाला. कई चैट्स में बाबा की तरफ से अश्लील बातचीत, आपत्तिजनक संदेश और एक चैट में तो दुबई के किसी व्यक्ति के लिए लड़की की व्यवस्था करने की बात तक सामने आई है. 

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