क्या निमाड़ में सबसे बड़ी बगावत रोक पाएगी BJP? अर्चना और शेरा की मुश्किलें बढ़ाएगा ये परिवार
MP Election 2023: मध्यप्रदेश विधानसभा चुनावों के लिए बीजेपी ने 228 विधानसभा सीटों पर प्रत्याशियों का ऐलान कर दिया है. प्रत्याशियों की घोषणा के बाद से कई सीटों पर पार्टी को भारी विरोध का सामना करना पड़ा है. वहीं बुरहानपुर सीट से दावेदारी कर रहे बीजेपी के पूर्व अध्यक्ष स्व. नंदकुमार चौहान के बेटे हर्षवर्धन […]
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MP Election 2023: मध्यप्रदेश विधानसभा चुनावों के लिए बीजेपी ने 228 विधानसभा सीटों पर प्रत्याशियों का ऐलान कर दिया है. प्रत्याशियों की घोषणा के बाद से कई सीटों पर पार्टी को भारी विरोध का सामना करना पड़ा है. वहीं बुरहानपुर सीट से दावेदारी कर रहे बीजेपी के पूर्व अध्यक्ष स्व. नंदकुमार चौहान के बेटे हर्षवर्धन सिंह की जगह पार्टी ने पूर्व मंत्री अर्चना चिटनिस को अपना प्रत्याशी बना दिया है. जबकि इस सीट से हर्षवर्धन् दावेदारी कर रहे थे और उन्हें पार्टी से उम्मीद थी कि टिकट मिलेगा, लेकिन जब एनाउंसमेंट हुआ तो उनका हाथ खाली रह गया. जिसके बाद से हर्षवर्धन ने बगावती तेवर अख्तियार कर लिए हैं.
हर्षवर्धन की मां ने कहा, “पार्टी का विरोध नहीं कर रहे हैं, लेकिन मेरे पति ने पार्टी के लिए अपना सब कुछ, यहां तक की अपना जीवन त्याग दिया. क्या यह दिन देखने के लिए उन्होंने इतनी मेहनत की थी.’
दरअसल बुरहानपुर विधानसभा सीट से बीजेपी ने पूर्व मंत्री अर्चना चिटनीस को अपना प्रत्याशी बनाया है, लेकिन इस टिकट की घोषणा होते ही भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और चार बार के खंडवा लोकसभा सीट से सांसद नंदकुमार सिंह चौहान के पुत्र हर्षवर्धन को टिकट ना दिए जाने के चलते उनके समर्थकों ने बगावती सुर अपनाने की घोषणा कर दी. अभी तक की जानकारी के अनुसार हर्षबर्धन सिंह 30 तारीख को अपना निर्दलीय फॉर्म भर सकते हैं. इसके पहले BJP कई नेताओं की कोशिश है कि हर्षवर्धन सिंह को समय रहते मना लिया जाए. अगर उनके समर्थकों ने बगावत कर दी तो निमाड़ क्षेत्र में बीजेपी की नैय्या डूबाने का काम भी कर सकते हैं.
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हर्षवर्धन बिगाड़ से हैं बीजेपी का खेल
पिछले दिनों भोपाल से बुरहानपुर पहुंचे हर्षवर्धन सिंह का उनके समर्थकों ने उनका जोरदार स्वागत किया. वहीं हर्षवर्धन चौहान भी भाजपा की अधिकृत केंडिडेट अर्चना चिटनीस पर भ्रष्टाचार के संगीन आरोप लगाते नजर आए. भाजपा द्वारा अर्चना चिटनीस को टिकेट दिए जाने पर खंडवा सांसद और बीजेपी के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष नंदकुमार सिंह चौहान के बेटे हर्षवर्धन चौहान काफी नाराज हैं.
समर्थकों के कहना है “अगर टिकट नहीं बदला गया तो वह हर्षवर्धन सिंह चौहान को निर्दलीय चुनाव मैदान में उतारकर चुनाव लड़वा सकते हैं. नंद कुमार सिंह चौहान के समर्थकों ने कहा कि पूर्व में शीर्ष नेताओं ने यह वादा किया था कि हर्षवर्धन चौहान को टिकट देकर वह भाजपा का उम्मीदवार बनाएंगे”.
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बुरहानपुर का खेल बिगाड़ते हैं निर्दलीय
बुरहानपुर विधानसभा सीट पर 2018 में चुनाव में पूर्व मंत्री अर्चना चिटनिस, कांग्रेस की ओर से रविंद्र महाजन और निर्दलीय ठाकुर सुरेंद्र सिंह उर्फ शेरा भैया मैदान में थे. दो बार की विजेता रही अर्चना चिटनिस को 93,441 मत मिले तो वहीं, सुरेंद्र सिंह को 98,551 मत मिले. इस तरह अर्चना चिटिनस 5, 120 मतों से हार गई. वहीं कांग्रेस के उम्मीदवार तो अपनी जमानत भी नहीं बचा सके. इसी को देखते हुये कांग्रेस ने यहां से सुरेंद्र सिंह शेरा को तो बीजेपी ने पूर्व मंत्री अर्चना चिटनिस को अपन प्रत्याशी बनाया है. इस सीट का इतिहास रहा है कि यहां हमेशा राजनीतिक दलों का खेल निर्दलीय प्रत्याशी ने ही बिगाड़ा है. ऐसे में हर्षवर्धन सिंह के चुनावी मैदान में होने के बीजेपी को साफ तौर पर खासा नुकसान उठाना पड़ सकता है.
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