कौन हैं प्रिया पाठक, जिन्होंने MPPSC में गाड़ दिए सफलता के झंडे, जानें टॉपर का सक्सेस मंत्र
Who is MPPSC Topper Priya Pathak: मध्यप्रदेश में राज्य लोक सेवा आयोग (MPPSC) 2019 के फाइनल रिजल्ट आ गए हैं. दरअसल, ये परिणाम तीन साल की देरी से जारी हुए हैं. इसमें लड़कियाें ने बाजी मारी है.
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Who is MPPSC Topper Priya Pathak: मध्यप्रदेश राज्य लोक सेवा आयोग (MPPSC) 2019 के फाइनल रिजल्ट घोषित कर दिए गए हैं. एमपीपीएससी ने यह परिणाम तीन साल की देरी से जारी किए हैं. इसमें पूरी तरह से लड़कियों ने बाजी मारी है और टॉप 3 पोजिशन में लड़कियों ने कब्जा किया है. इसमें सतना की होनहार बेटी प्रिया ने टाॅप करते हुए नंबर एक पोजिशन हासिल की, वहीं सेकेंड टॉप सिवनी की शिवांगी बघेल ने किया है. तीसरे नंबर पर आने वाली पन्ना की पूजा सोनी एक बेहद साधारण घर से आती हैं, उसके पिता बर्तन की दुकान चलाते हैं.
MPPSC टॉप करने वाली प्रिया बघेल सतना की रहने वाली हैं और उनके पिता प्राइमरी स्कूल में टीचर हैं. हालांकि प्रिया पाठक ने 2020 में भी एमपीपीएससी की परीक्षा भी बढ़िया रैंक के साथ पास की थी, तब वह डीएसपी बनी थीं और इस समय डीएसपी की ट्रेनिंग ले रही हैं. प्रिया बेहद सामान्य परिवार से आती हैं. उनके पिता कृष्ण शरण पाठक शासकीय प्राथमिक शाला में सहायक शिक्षक के पद पर कार्यरत हैं.
रिजल्ट आया तो उछल पड़ीं प्रिया
प्रिया जब भी निराश होती थीं और रिजल्ट में देरी की वजह से जब भी प्रिया निराश होती थीं, उनके पिता और मां उन्हें आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करते थे. प्रिया ने वर्ष 2019 के लंबित एमपीपीएससी के परीक्षा परिणाम में टाॅप करते हुए सतना का नाम रोशन किया है. प्रिया 2020 के एमपीपीएससी का एग्जाम दिया था, तब उनका डीएसपी में चयन हुआ था. प्रिया को 2019 के परीक्षा परिणाम का इंतजार था और जब रिजल्ट आया तो वह उछल गई, क्योंकि उसने ये परीक्षा टॉप की थी.
प्रिया ने कहा कि ये परीक्षा परिणाम आए तो खुशी का ठिकाना नहीं रहा. प्रिया ने कहा, ‘मेहनत ओर लगन से सफलता के मुकाम हासिल किए जा सकते हैं. सफलता उनके कदम चूमे जा सकते हैं.’
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प्रिया की सफलता का राज
परिवार का पूरा सपोर्ट रहा है, रिजल्ट में देरी होती थी, लेकिन परिवार फिर भी हिम्मत देता रहा, कहता रहा आगे बढ़ना है, आखिर तक यही प्रेरणा रही और आज रिजल्ट सामने है. फिलहाल तो इसे ही सेलीब्रेट कर रही हूं. अभी आगे कुछ सोचा नहीं है कि आगे क्या करना है. अभी ज्वाइनिंग करूंगी इसके बाद ट्रेनिंग कर काम में जुट जाऊंगी. अपने काम को ईमानदारी से करूं, जो भी कार्य क्षेत्र होगा, उसे पूरा करने का काम करूंगी. कुछ ऐसे क्षेत्र भी हैं जो मेरी प्रियॉरिटी में हैं. जैसे क्वॉलिटी एजुकेशन बहुत जरूरी है. शिक्षा का स्तर को बढ़ाने की मेरी प्राथमिकता रहेगी. महिलाओं के हेल्थ को लेकर काम करना है.
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निराश न हों और बीच में क्षेत्र न बदले
तैयारी करने वाले अभ्यर्थी अपनी ताकत को पहचाने और आगे बढ़ते रहें. जिस भी फील्ड में रुचि है, उसमें निरंतरता के साथ आगे बढ़े, क्षेत्र काे बीच में बदलें नहीं. सिविल सर्विसेज की बात है तो इसे लेकर अगर क्लियर हैं तो इसमें जुटे रहें और अपनी ताकत के मुताबिक सब्जेक्ट का चुनाव बनाए रखें.