Prem Kumar: कौन हैं बिहार विधानसभा के नए स्पीकर प्रेम कुमार, जानें उनका राजनीतिक सफर 

Prem Kumar News: बिहार विधानसभा चुनाव के बाद प्रेम कुमार को विधानसभा का नया स्पीकर चुना गया है. पक्ष और विपक्ष दोनों ने उन्हें सर्वसम्मति से चुना जिसके बाद उन्होंने अपना पदभार संभाला है. आइए विस्तार से जानते हैं कि कौन है प्रेम कुमार से लेकर राजनीतिक सफर की पूरी डिटेल.

Prem Kumar Bihar Speaker
भाजपा नेता प्रेम कुमार बने बिहार विधानसभा के नए स्पीकर
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बिहार की राजनीति में आज यानी 2 दिसंबर का दिन काफी अहम रहा. भारतीय जनता पार्टी(भाजपा) के वरिष्ठ नेता प्रेम कुमार को आज सर्वसम्मति से बिहार विधानसभा का स्पीकर चुन लिया गया है. प्रेम कुमार को सीएम नीतीश कुमार और नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव खुद उनके चेयर तक लेकर आए, जिसके बाद सदन के अंदर ही विधायकों ने 'जय श्री राम' और 'भारत की जय' के नारे लगाए. सीएम नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव दोनों ने ही उन्हें बधाई दी.

भाजपा नेता प्रेम कुमार ने बीते कल यानी सोमवार को नामांकन दाखिल किया था और इस दौरान दोनों डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा और सम्राट चौधरी मौजूद रहें. अब उनके विधानसभा स्पीकर बनने के बाद लोगों के मन में सवाल उठ रहे हैं कि आखिर कौन हैं प्रेम कुमार, क्या है इनका राजनीतिक सफर और बीजेपी ने इन्हें ही क्यों चुना? आइए विस्तार से जानते हैं इन सभी सवालों के जवाब. 

कौन हैं प्रेम कुमार?

प्रेम कुमार भाजपा के एक वरिष्ठ नेता है. इनका जन्म 5 अगस्त 1955 को हुआ है. प्रेम कुमार एक पढ़े-लिखें और सधे हुए नेता के हिसाब से जाने जाते है. प्रेम कुमार ने एम.ए., एलएलबी और पीएचडी तक की पढ़ाई की है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक प्रेम कुमार बेहद की साधारण परिवार से आते हैं और लंबे समय से राजनीति में अपनी पैठ जमा रखें है. प्रेम कुमार के पिता एक बैंक कर्मचारी थे. राजनीति में आने से पहले प्रेम कुमार दवा के कारोबार के साथ-साथ कई कारोबार भी कर चुके हैं.

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प्रेम कुमार का राजनीतिक सफर

बिहार विधानसभा के नए स्पीकर प्रेम कुमार छात्र जीवन में ही अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से जुड़े और 1980 में उन्होंने भाजपा की सदस्यता ली थी और तब से ही पार्टी के साथ जुड़े रहे हैं. फिर 1990 में वे पहली बार भाजपा के टिकट पर गया टाउन से टिकट मिला और वे जीत कर पहली बार विधायक भी बनें.

1990 के बाद प्रेम कुमार लगातार इस सीट से जीत रहें है. 2005 में वे पहली बार नीतीश सरकार में मंत्री बनें और उन्हें लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग मिला. फिर 2008 में वे दूसरी बार मंत्री बने और उन्हें लोक निर्माण विभाग मिला. फिर यह सिलसिला जारी रहा है और वे राज्य के नगर विकास, कृषि समेत कई प्रमुख विभाग का कार्यभार संभाल चुके हैं. 2025 के चुनाव में प्रेम कुमार ने कांग्रेस प्रत्याशी को 26423 वोटों से हराया और 9वीं बार गया टाउन से विधायक बने हैं.

कभी विपक्ष के नेता भी रहे हैं प्रेम कुमार

प्रेम कुमार मंत्री के साथ-साथ विपक्ष के नेता की भूमिका में भी रहें. साल 2015 से 2017 के दौरान जब नीतीश कुमार ने महागठबंधन के साथ सरकार बनाया था, तब प्रेम कुमार नेता विपक्ष के पद पर थे. इसी के साथ प्रेम कुमार ने अपने इलाके और भाजपा जैसी बड़ी पार्टी में अपनी मजबूत पकड़ बना रखी है.

भाजपा ने क्यों बनाया उन्हें स्पीकर?

अब सबसे अहम सवाल की भाजपा ने उन्हें स्पीकर क्यों बनाया? क्या उनकी कोई मजबूरी थी? तो राजनीतिक विशेषज्ञों की मानें तो भाजपा के पास कोई मजबूरी नहीं थी. दरअसल इस चुनाव में भाजपा सबसे बड़ी पार्टी के तौर पर बनकर उभरी है और कहा जाता है कि विधानसभा की सबसे बड़ी रुलिंग पार्टी का ही स्पीकर चुना जाता है. ऐसे में भाजपा ने उन्हें उनकी वरियता और एक्सपीरियंस के हिसाब से स्पीकर बनाया है ताकि वे सदन की कार्यवाही को आसानी से और निष्पक्षता से चला सकें.

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