MP News: 27 फीसदी आरक्षण पर हाईकोर्ट का बड़ा फैसला, नियुक्ति का रास्ता होगा साफ?
MP News: मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने कर्मचारी चयन मंडल आयोग द्वारा आयोजित संयुक्त परीक्षा के मामले में 27% आरक्षण को लेकर दायर याचिका में बड़ा फैसला सामने आया है. प्रदेश के युवाओं के लिए अच्छी खबर निकलकर सामने आई है
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MP News: मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने कर्मचारी चयन मंडल आयोग द्वारा आयोजित संयुक्त परीक्षा के मामले में 27% आरक्षण को लेकर दायर याचिका में बड़ा फैसला सामने आया है. प्रदेश के युवाओं के लिए अच्छी खबर निकलकर सामने आई है. खास तौर पर वह युवा जो ओबीसी समुदाय से आते हैं, और बैकलॉग भर्तियों के रास्ते के साफ होने का इंतजार कर रहे थे. दरअसल जनसंपर्क मध्य प्रदेश ने जानकारी दी है. कि, ओबीसी आरक्षण के मामले पर हाई कोर्ट की तरफ से अब एक्शन लिया गया है. जिसके बाद बैकलॉग की भर्तियों का रास्ता खुल गया है.
कोर्ट ने खारिज की याचिका
मध्य प्रदेश में सरकार किसी की भी रहे लेकिन युवाओं की समस्याओं का समाधान होते हुए नहीं दिखता है. मध्य प्रदेश के युवा लगातार नौकरी के लिए सड़कों पर उतरते हुए दिखाई देते हैं. चाहे वह कोई सा भी क्षेत्र हो चाहे शिक्षक हो नर्सिंग के हो या किसी और क्षेत्र से हों. तमाम युवा बैकलॉग भर्तियां पूर्ण करने की मांग लगातार उठाते रहे हैं. कई बार युवाओं को सड़क पर प्रदर्शन भी करना पड़ा है. वहीं आपको बता दें कि पिछले कई सालों से बैकलॉग भर्तियां अटकी पड़ी थी.
इसके पीछे की वजह ओबीसी आरक्षण था. जो लगातार हाई कोर्ट में लंबे समय से लंबित था. अब हाई कोर्ट ने इस पूरे मामले पर एक्शन ले लिया है. हाई कोर्ट की तरफ से 27 फीसदी ओबीसी आरक्षण की याचिका डिस्मिस कर दी गई है. यानी कि अब प्रदेश सरकार बैकलॉग की अटकी हुई भर्तियां 13 फीसदी ओबीसी आरक्षण के हिसाब से निकालेगी और इस भर्ती प्रक्रिया को पूरा किया जाएगा.
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13% अभ्यार्थियों की नियुक्ति का रास्ता साफ
आपको बता दें कि जनसंपर्क मध्य प्रदेश की तरफ से सोशल मीडिया साइट एक्स पर जानकारी साझा की गई है. जिसमें लिखा गया है कि अन्य पिछड़ा
वर्ग के शेष 13 प्रतिशत अभ्यार्थियों की नियुक्ति का रास्ता साफ हुआ है. कर्मचारी चयन मंडल आयोग द्वारा 2022 में आयोजित संयुक्त परीक्षा का यह मामला है.
कोर्ट ने दिए नियुक्ति के आदेश
न्यायालय ने प्रकरण को ध्यान में रखते हुए कर्मचारी चयन मंडल आयोग द्वारा रिक्त पदों के लिए नियुक्ति आदेश जारी कर दिए गए थे. अन्य पिछड़ा वर्ग
के 14 फीसदी आरक्षण के आधार पर अभ्यार्थियों की नियुक्ति के आदेश जारी किए गए हैं. वहीं इस याचिका पर सुनवाई करते हुए उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा इस याचिका को डिस्मिस कर दिया गया है. जिसके बाद अब अंतिम निर्णय के बाद अन्य पिछड़ा वर्ग के शेष 13 फीसदी अभ्यार्थियों की नियुक्ति का भी रास्ता खुल गया है.
जनसंपर्क मध्य प्रदेश ने जो जानकारी साझा की है उसके मुताबिक 27 फीसदी ओबीसी आरक्षण का मुद्दा लगातार जबलपुर हाई कोर्ट में लंबित था. अब इसको डिस्मिस हाई कोर्ट ने कर दिया है. जिसके बाद बचे हुए 13 फीसदी के हिसाब से पदों की नियुक्ति की जाएगी.
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